तस्वीरें बोलती हैं, पुरानी यादों के पट खोलती हैं

तस्वीरें… एक जमाना था, जब तस्वीर, कैमरा, स्टूडियो आदि के नाम से ही हमारे चेहरे पर एक नूर सा छा जाता था। तस्वीरों का शौक यूँ तो सबको ही होता है, लेकिन महिलाओं में यह शौक खास तौर पर देखा जाता है। यह सच कल भी था और आज भी है, बस उस शौक को […]

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ये मैंने किसको सज़ा दे दी

आज सुबह-सुबह एक चिड़िया (पंडुक) मेरी बालकनी में आयी, जिसके बारे में आप सभी जानते होगें। उसकी वाणी ने जैसे मन में करुण रस का संचार कर दिया। इस चिड़िया के कूकने के विषय में एक किस्सा प्रचलित है। मेरे हम-उम्र लगभग हर किसी ने अपने बचपन में अपनी दादी-नानी से ये किस्सा जरूर सुना […]

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मैं खुश हूँ कि मैं नारी हूँ

मैं खुश हूँ कि मैं नारी हूँ दुर्गा, शक्ति, शिवा, धात्री कहलाने की मैं ही तो अधिकारी हूँ।   चाहे जितनी दो यातनाएँ, प्रताड़नाएँ या बाँधो जंजीरों में मैं इन सबसे कब हारी हूँ? मैं खुश हूँ कि मैं…………….   प्रेम, दया, करुणा धर अपने मन में, काँटों से घिरी हुई, मैं एक फुलवारी हूँ मैं खुश हूँ कि […]

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